डॉ. महेंद्र भानावत को मिलेगा प्रसिद्ध कविश्री काग बापू लोक साहित्य सम्मान

– लोक कला के क्षेत्र में अप्रतिम योगदान पर 6 मार्च को शीतल संत मोरारी बापू प्रदान करेंगे-
उदयपुर।
 पद्मश्री भक्त कवि-दुल्लाभाई भायाभाई काग ‘भगत बापू’ की 45वीं पुण्यतिथि के आयोजनों की शृंखला में 6 मार्च को शीतल संत मोरारी बापू की उपस्थिति में सम्मान समारोह होगा जिसमें राजस्थान उदयपुर के प्रसिद्ध लोक कलाविद् डॉ. महेन्द्र भानावत को कविश्री काग बापू लोक साहित्य सम्मान प्रदान किया जाएगा। पुरस्कार स्वरूप शाल, स्मृति चिन्ह के साथ ही 50,000 रुपये की सम्मान राशि प्रदान की जायेगी।
राजस्थान विद्यापीठ विवि उदयपुर के कुलाधिपति बलवंत राय जानी ने बताया कि समारोह में राष्ट्रसंत-शीतल संत मोरारी बापू के हाथों लोककला के क्षेत्र में अप्रतिम योगदान करने वाली पांच हस्तियों का सम्मान करने की परम्परा है। इस बार लोककलाविद् डॉ. महेंद्र भानावत (राजस्थान), स्व. मेघराजभा मुलुभा गढ़वी, यशवंत आनंदभा लांबा, श्रीमती भावनाबेन और संगीताबेन लबडिय़ा, डॉ. श्रीमती इंदुबेन पटेल को यह सम्मान प्रदान किया जाएगा। समारोह की शुरुआत अनवर मीर, यशवंत आनंदभा लांबोक के सान्निध्य में होगी। काग परिवार के सदस्य अतिथियों का अभिनंदन करेंगे व मोरारी बापू कविश्री काग बापू लोकसाहित्य सम्मान प्रदान करेंगे। इस अवसर पर भगत बापू पर मोरारी बापू आशीर्वचन भी प्रदान करेंगे। समारोह में कागवानी कलाकारों द्वारा पारम्परिक प्रस्तुतियां होंगी। यह आयोजन पद्मश्री कवि काग बापू ट्रस्ट श्री बाबूभाई रामभाई कागी की ओर से होगा। गौरतलब है कि  प्रसिद्ध कवि, समाज सुधारक और स्वतंत्रता सेनानी पद्मश्री भक्त कवि दुला भाया काग (25 नवम्बर 1902 – 22 फऱवरी 1977) का जन्म सौराष्ट्र-गुजरात के महुवा के निकटवर्ती गाँव मजदार में हुआ था जो अब कागधाम के नाम से जाना जाता है जहां उनकी समाधि भी है।

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