उदयपुर। पेसिफिक इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज, (पिम्स) उमरडा, में बेसिक एनआरपी कोर्स पर वर्कशॉप का सफलतापूर्वक आयोजन किया गया। पहला गोल्डन मिनिट प्रोजेक्ट आईएपीसी (इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स) एफएएम एनआरपी के तहत 30 से अधिक चिकित्सक और नर्सिग अधिकारियों को प्रशिक्षित किया गया। इस प्रशिक्षण में आरएनटी मेडिकल कॉलेज के डॉ. अनुराधा, डॉ. नीतु बेनिवाल, अनंता मेडिकल कॉलेज के डॉ. गौरव, अमेरिकन मेडिकल कॉलेज के डॉ. अविनाशा ने प्रशिक्षण दिया। कोर्स कोर्डिनेटर डॉ. अंकितकुमार पंचाल थे। कार्यशाला का आयोजन डॉ. विवेक पाराशर, डॉ. राहुल खत्री व डॉ. प्रागी ढिंगरा ने किया।
पिम्स के चैयरमेन आशीष अग्रवाल ने बताया कि नवजात शिशुओं का पहला मिनट जिसमें कई दुविधाएं आती हैं, उस पहले मिनट में जरूरी हस्तक्षेप किया गया तो एनएमआर (नीयोनेटल मोरटालिटी रेट) और आईएमआर (शिशु मृत्यु दर) कम कर सकते है। पिम्स के प्राध्यापक डॉ. सुरेशचन्द्र गोयल ने बताया कि यह प्रशिक्षण प्रत्येक चिकित्सक और नर्सिग स्टाफ को करना चाहिए जिससे एनएमआर एंड आईएमआर कम हो सके। पिम्स के पिड्रियाट्रिक विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. विवेक पाराशर ने बताया कि हम आगे एडवांस एनआरपी का भी आयोजन करवाएंगे। पिम्स नियोनेटालॉजिस्ट और कोर्स कोर्डिनेटर डॉ. अंकितकुमार पंचाल बताया कि सभी प्रतिभागी इस प्रशिक्षण में सफलतापूर्वक उतीर्ण हुए हैं।
पिम्स, उमरड़ा में एनआरपी (नीयोनेटल रिससिटेशन प्रोग्राम) वर्कशॉप आयोजित
