कृषि बढ़ती है, तभी देश आगे बढ़ता है – राज्यपाल बागड़े

जनसंख्या वृद्धि के साथ अन्नदाताओं ने बनाया खाद्यान्न में आत्मनिर्भर
राजस्थान कृषि महाविद्यालय में कृषक संवाद कार्यक्रम
उदयपुर : राज्यपाल हरिभाऊ बागड़े ने कहा कि कृषि बढ़ती है, तभी देश आगे बढ़ता है। खाद्यान्न में आत्मनिर्भरता से विदेशी मुद्रा बचती है और कृषि आधारित उद्योग धंधे भी तेजी से पनते हैं। इसलिए कृषि क्षेत्र के विकास में आने वाली चुनौतियों का समाधान खोजते हुए तेजी से आगे बढ़ने की आवश्यकता है। राज्यपाल मंगलवार को महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय की ओर से राजस्थान कृषि महाविद्यालय सभागार में आयोजित प्रगतिशील किसान संवाद कार्यक्रम को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे।


राज्यपाल ने कहा कि आजादी के समय देश की आबादी 36 करोड़ थी। इनके लिए पर्याप्त अन्न नहीं था। विदेशों से खाद्यान्न मंगवाना पड़ता था। तब देश के अन्नदाताओं ने मेहनत कर लोगों का पेट भरा। वर्तमान में आबादी 147 करोड़ हो चुकी है। कृषि भूमि भी कम हुई है, लेकिन देश में कृषि क्षेत्र ने तेजी से विकास किया। अन्नदाताओं ने इन चुनौतियों को स्वीकार करते हुए उत्पादन बढ़ाया। इसी के परिणाम स्वरूप देश खाद्यान्न में आत्मनिर्भर बनने की राह पर है। आने वाले समय में चुनौतियां बढ़ेंगी। इसलिए कृषि क्षेत्र में नवीन शोध और उन्नत तकनीक पर निरंतर काम करने की आवश्यकता है। इससे पूर्व विश्वविद्यालय के कुलगुरू डॉ अजीत कुमार कर्नाटक ने स्वागत उद्बोधन देते हुए विश्वविद्यालय की उपलब्धियों से अवगत कराया। रिसर्च डायरेक्टर डॉ अरविन्द वर्मा ने पीपीटी के माध्यम से प्रगति प्रतिवेदन प्रस्तुत किया।
भारत के पुरातन ज्ञान को कम नहीं आंके :
राज्यपाल ने कहा कि भारत की पुरातन ज्ञान संपदा अतुलनीय है। हर विषय पर यहां बहुत पहले ही शोध कार्य हो चुके हैं। उन्होंने कृषि क्षेत्र में चक्रपाणि मिश्र की पुस्तक विश्व वल्लभ का उदाहरण देते हुए कहा कि उन्होंने खेत, सिंचाई की तकनीकों पर सदियों पहले ही लिख दिया है।
राज्यपाल ने कहा कि शिक्षा का अर्थ सिर्फ अंक लाना नहीं है। शिक्षा का सीधा संबंध बौद्विक क्षमता विकास से है। सच्ची शिक्षा वहीं है जो विद्यार्थी को हर चुनौती का सामना करने के योग्य और समाधान करने में सक्षम बनाए। स्वामी विवेकानंद, झांकी की रानी और वीरबाला कालीबाई का उदाहरण देते हुए कहा कि क्षमता, सामर्थ्य और भाव आयु के मोहताज नहीं होते। इन विभूतियों ने अल्प वय में जो भाव दिखाए वह वंदनीय हैं।
राज्यपाल ने कहा कि राजस्थान में गर्मी कम करनी है और बारिश बढ़ानी है तो पेड़ लगाने होंगे। उन्होंने पानी बचाने का भी आह्वान किया। उन्होंने कहा कि गांव का पानी गांव में रहेगा तो खेती स्वतः ही बढेगी।
राज्यपाल ने राजस्थान कृषि महाविद्यालय परिसर में स्थित महाराणा प्रताप की प्रतिमा को नमन किया। साथ ही तस्वीर पर पुष्पांजलि अर्पित की। इस दौरान उन्होंने विश्वविद्यालय की ओर से संचालित महाराणा प्रताप शोध पीठ की गतिविधियों की प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया। साथ ही महाविद्यालय के संस्थापक ए राठौड़ की प्रतिमा पर भी पुष्पाजंलि अर्पित की।
कॉफी टेबल बुक का विमोचन :


कार्यक्रम के दौरान राज्यपाल ने विश्वविद्यालय की ओर से मोटे अनाज की नवीनतम किस्मों सहित अन्य उपयोग जानकारियों को लेकर प्रकाशित की गई कॉफी टेबल बुक दी मिलेट्स स्टोरी का भी विमोचन किया।
इससे पूर्व राज्यपाल सुबह 7.20 बजे विमान से डबोक एयरपोर्ट पहुंचे। वहां अधिकारियों ने उनकी अगवानी की। जवानों ने गार्ड आफ ऑनर दिया। इसके पश्चात् राज्यपाल सड़क मार्ग से सर्किट हाउस उदयपुर पहुंचे। यहां पुलिस महानिरीक्षक गौरव श्रीवास्तव एवं जिला कलक्टर नमित मेहता ने उनका स्वागत किया। कुछ देर प्रवास के बाद राज्यपाल राजसमंद जिले के पिपलांत्री गांव पहुंचे। वहां आयोजित पर्यावरण उत्सव 2025 में भाग लेकर दोपहर करीब 1.35 बजे पुनः सर्किट हाउस उदयपुर आए। कृषि महाविद्यालय में आयोजित कार्यक्रम में भाग लेने के बाद जयपुर के लिए प्रस्थान किया।

Related posts:

P&G India installs rainwater harvesting infrastructure at P&G Shiksha supported schools

सुभाषचंद्र बोस की जयंती पर विशाल वाहन रैली

ZINC FOOTBALL ACADEMY SPARKLES AT THE NATIONAL LEVEL, GOES UNBEATEN AT GROUP STAGE TO QUALIFY FOR RO...

‘ग्रैंड कॉन्टिनेंट’-ए लक्जरी कलेक्शन का भव्य उद्घाटन

उदयपुर में आईस्टार्ट-आइडियाथॉन का आयोजन 5 को

हिन्दुस्तान जिंक के प्रधान कार्यालय में उमंग एवं उत्साह से मनाया 74वां गणतंत्र दिवस

15 अलग-अलग मुद्दों में सहयोग के उद्देश्य से 27 शहरों में 100 म्यूजिकल परफॉरमेंस के साथ, 100 पाइपर्स ...

जिंक फुटबॉल अकादमी के चार खिलाडिय़ों का जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रीय शिविर के लिए चयन

Zinc Ranks among the Top 3 Sustainable Companies Globally in Metal and Mining Sector

विश्व प्रतिमा दिवस पर जनाना महल में हुई कार्यशाला

डॉ. लक्ष्यराजसिंह ने किया‘‘मेवाड़ में ज्योतिष परम्परा का इतिहास’’ पुस्तक विमोचन

जिंक द्वारा कायड में सीएसआर के तहत् अगंदान हेतु जागरूकता सत्र आयोजित