स्किल गेम्स काउंसिल ने समान केंद्रीय दिशानिर्देश लागू करने पर जोर दिया

उदयपुर : राजस्थान सरकार ने हाल में सार्वजनिक विमर्श के लिए ‘राजस्थान वर्चुअल स्पोर्ट्स (विनियमन) विधेयक’ नाम से एक ड्राफ्ट जारी किया। बिल में सभी गेमिंग सेवा प्रदाताओं को राज्य में कारोबार करने के लिए लाइसेंस लेने की बात कही गई है। राज्य सरकार ऑनलाइन स्किल-आधारित गेम्स खास कर फंतासी गेम्स के लिए विनियमन कानून लागू करने की योजना बना रही है। इसी सिलसिले में स्किल गेम्स काउंसिल ऑफ इंडिया ने यह सुझाव दिया है कि सरकार सभी ऑनलाइन स्किल गेम्स के लिए बराबर नियम शामिल कर ड्राफ्ट को अधिक समावेशी बनाए और यह केवल फंतासी गेम्स के लिए विनियमन नहीं लाए। स्किल गेम्स काउंसिल ऑफ इंडिया गणमान्य लोगों का एक निष्पक्ष उद्योग निकाय है जो स्किल गेम्स की योग्यता निर्धारित करता है। एसजीसीआई का गठन खास कर गेमर्स और डेवलपर्स समेत इसके सभी भागीदारों के लिए सर्वाेत्तम कार्य प्रक्रियाओं को नियंत्रित और सुनिश्चित करने के लिए किया गया है जो आत्म-नियंत्रण के माध्यम से संभव होता है।

ड्राफ्ट के अनुसार राज्य में ऑनलाइन गेमिंग कारोबार के विनियमन के लिए एक वर्चुअल ऑनलाइन खेल आयोग का गठन किया जाएगा। लाइसेंस और विज्ञापन संबंधी उल्लंघन पर ड्राफ्ट के अनुसार 2 लाख रुपये तक का जुर्माना भी लग सकता है। वर्तमान में ऑनलाइन गेमिंग पर राज्य में जुर्माने का कोई प्रावधान नहीं है।
इस बिल के ड्राफ्ट के बारे में स्किल गेम्स काउंसिल के प्रमुख सदस्य पूर्व न्यायाधीश विक्रमजीत सेन ने कहा, ‘‘पिछले कुछ समय से स्किल-आधारित ऑनलाइन गेमिंग की वैधता को अदालती निर्णयों ने बरकरार रखा है और अब इस पर एक व्यापक राष्ट्रीय नीति अत्यावश्यक है। राजस्थान सरकार का प्रस्तावित मसौदा ध्यान देने योग्य है क्योंकि केवल फैंटेसी गेमिंग को इस दायरे में शामिल करना अनुचित होगा। हालांकि मैं इस विचार से सहमत हूं कि खिलाड़ियों और डेवलपर्स के अधिकारों की रक्षा आवश्यक है जबकि ऑनलाइन गेमिंग समुदाय के कानूनों और विनियमों पर मंथन में अक्सर उनकी अनदेखी हो जाती है। इस तथ्य के साथ हम सभी यह भी जानते हैं कि इस सेक्टर का विकास इसकी पहुंच, समुदायों को आपस में जोड़ने, शारीरिक खेलों का विकल्प बनने, जीवन के महत्वपूर्ण कौशल जैसे निर्णय लेने, गंभीरता से सोचने और तर्क से काम लेने, अनुशासन के अंदाज पर निर्भर करता है। साथ ही, जिम्मेदार डिजिटल नागरिक बनाने की आवश्यकता है। इसलिए सरकार को यह सलाह दी जाती है कि सभी की बेहतरी के लिए इन तमाम चुनौतियों के समाधान पर ध्यान दे।”

स्किल गेम्स काउंसिल ऑफ इंडिया के सदस्य डॉ. सुतनु बेहुरिया ने बताया, “ऑनलाइन गेमिंग एक सनराइज सेक्टर है और यह रोजगार, युवाओं के लिए तकनीकी कौशल और फिर सरकार के लिए राजस्व बढ़ाने की संभावना से परिपूर्ण है। इस संदर्भ में प्रगतिशील नीतियां बनाने और नियामक ढांचे में सक्षमता का परिवेश बनाना महत्वपूर्ण है।”

भारत में 275 से अधिक गेमिंग कंपनियां, 15,000 से अधिक गेम डेवलपर और लगभग 300 मिलियन गेमर हैं। महामारी के अभूतपूर्व दौर में लोगों ने पारंपरिक खेलों को छोड़ ऑनलाइन गेमिंग का रूख किया। भारत में लॉकडाउन के दौरान इस उद्योग ने 21 प्रतिशत सीएजीआर की बढ़त दर्ज की। ग्राहक लगातार बढ़ते गए। इसलिए उद्योग के अधिक तेजी से बढ़ने और भारत में 2020 में 360 मिलियन से बढ़कर 2025 तक 510 मिलियन ऑनलाइन गेमर होने का अनुमान है। 

एसजीसी के एक सदस्य पी.के. मिश्रा ने कहा कि एक समुदाय के तौर पर आत्म-नियंत्रण के साथ गेमिंग सेक्टर के सभी भागीदारों के लिए एक सुविधाजनक परिवेश बनाने की भी आवश्यकता है। यह पारदर्शी और निष्पक्ष हो। एसजीसीआई ने हमेशा जिम्मेदारी के साथ गेमिंग, यूजर की इंटीग्रिटी, खिलाड़ी की सुरक्षा और सदस्य ऑपरेटरों के लिए सर्वाेत्तम प्रक्रियाओं की आवश्यकता को सामने रखा है ताकि उपभोक्ताओं के हितों की रक्षा के लिए नैतिकता सुनिश्चित हो। इसलिए बिल का मसौदा तैयार करते समय गेमिंग समुदाय की सुरक्षा का ध्यान रखते हुए इसमें लगातार सुधार और समरूप करते हुए इसे केंद्र सरकार के दृष्टिकोण के अनुरूप बनाना आवश्यक है।

Related posts:

महाराजा व्हाठइट लाइन ने प्रोवेव सुपर 65 डेजर्ट कूलर्स लॉन्च किया

After Udaipur, Vedanta to expand its grassroots football development programme across the country

Dettol Banega Swasth India Launches India’s First Music Album on Hygiene- ‘Folk Music for a Swasth I...

E-commerce bridges India with Bharat this festive season

सिएट का राजस्थान में पंक्चर सेफ टायर लॉन्च

Hindustan Zinc signs on Ultra-RunnerSufiya Sufi as BrandAmbassador

डीएवी जावर में प्री-प्राइमरी कक्षाओं का भूमिपूजन समारोह

सहारा ने 75 दिनों में निवेशकों को 3,226 करोड़ रूपये का मैच्योरिटी भुगतान किया

Motorola launches razr 60 ultra

इन्दिरा आईवीएफ ने पार किया 75000 सफल आईवीएफ प्रेगनेंसीज़ का आंकड़ा

पेटीएम पेमेंट्स बैंक लि. ने एक करोड़ से अधिक पेटीएम फास्टैग जारी करने का माइल स्टोन हासिल किया

सीग्राम्स 100 पाइपर्स पौधारोपण को समर्पित भारत के पहले एनएफटी की पेशकश कर ‘नाऊ फंडिंग टुमॉरो’ लेकर आ...

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *